अजमेर.राजस्थान माध्यमिक शिक्षा बोर्ड की परीक्षाओं से दक्षिण और उत्तर-पूर्वी राज्यों की भाषाएं बाहर कर दी गई हैं। इन राज्यों की भाषाएं परीक्षार्थी तृतीय भाषा के रूप में नहीं ले सकेंगे। बोर्ड की 2013 की परीक्षा से तमिल और मलयालम भाषाओं के पेपर भी हटा दिए गए हैं। अब केवल उत्तर भारत के राज्यों में बोली जाने वाली भाषाएं ही तृतीय भाषा के रूप में ली जा सकेंगी।तमिलनाडु, केरल, पश्चिम बंगाल, असम और उड़ीसा आदि राज्यों में बोली जाने वाली भाषाएं किसी जमाने में बोर्ड की परीक्षाओं में तृतीय भाषा के रूप में चलती थीं। लेकिन अब बोर्ड ने इन्हें अपने पाठ्यक्रम से हटा दिया है। इनकी परीक्षाएं भी आयोजित नहीं होंगी। ताजा निर्णय बोर्ड ने तमिल और मलयालम भाषाओं को पाठ्यक्रम से बाहर करने का लिया है।
केवल पांच भाषाओं के ही होंगे पेपरबोर्ड की 2013 की परीक्षाओं में तृतीय भाषा के रूप में परीक्षार्थियों से केवल पांच भाषाओं के लिए आवेदन मांगे गए हैं। इनमें संस्कृत, उर्दू, गुजराती, सिंधी और पंजाबी भाषा शामिल हैं। ये वे भाषाएं हैं जो उत्तरी राज्यों में बोली व पढ़ी जाती हैं। बोर्ड ने तमिल और मलयालम समेत 9 भाषाओं के लिए आवेदन नहीं मांगे हैं।
पिछले अधिवेशन में लिया था फैसला
बोर्ड सूत्रों के मुताबिक बोर्ड प्रबंध मंडल के पिछले अधिवेशन में 2013 की परीक्षाओं से तमिल और मलयालम भाषाओं को हटाने का निर्णय कर लिया है। इसे देखते हुए ही इस बार बोर्ड की ओर से 2013 की परीक्षाओं के लिए भरवाए गए ऑन लाइन आवेदन में इन भाषाओं को भी तृतीय भाषा के विकल्प के रूप में नहीं दिया गया।