ईमेल के माध्यम से सदस्यता लें

अपना ईमेल पता दर्ज करें:

निजी स्कूलों में गरीबों को दें दाखिला

नई दिल्ली : दिल्ली हाईकोर्ट ने शुक्रवार को दिल्ली सरकार को सख्त निर्देश दिया है कि वह निजी स्कूलों में गरीबी कोटे की खाली पड़ी सीटों पर दाखिला प्रक्रिया पूरी करवाए। कार्यकारी मुख्य न्यायाधीश एके सिकरी और न्यायमूर्ति राजीव सहाय एंडलॉ ने दिल्ली सरकार से कहा है कि वह गरीब बच्चों का दाखिला गर्मी की छुट्टियों के दौरान पूरी कर ले। कोर्ट ने कहा कि दाखिला के लिए दिल्ली सरकार दिल्ली के सभी उप शिक्षा निदेशक के कार्यालयों में फार्म मंगवाए जाएं और फिर उप शिक्षा निदेशक ही बच्चे की घर की दूरी के हिसाब संबंधित निजी स्कूलों का चुनाव करे। दरअसल वकील अशोक अग्रवाल ने निजी स्कूलों में गरीबी कोटे के लिए निर्धारित 25 फीसदी में से खाली पड़ी सीटों को लेकर दो माह पहले हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी जिसमें उन्होंने कहा था कि निजी स्कूल गरीबी कोटे की निर्धारित सीटों पर गरीब बच्चों को दाखिला नहीं दे रहे हैं और जहां दे भी रहे हैं वहां तय क्षमता के हिसाब से काफी कम दे रहे हैं। हाईकोर्ट ने याचिका पर सुनवाई करते हुए दिल्ली सरकार से इस मुद्दे पर अपना जवाब दाखिल करने को कहा था। शुक्रवार को दिल्ली सरकार ने अपना जवाब हाईकोर्ट के कार्यकारी मुख्य न्यायाधीश के समक्ष दाखिल किया। जिसमें उन्होंने बताया कि निजी स्कूलों में कुल 9 हजार 835 सीटें गरीबी कोटे की खाली पड़ी हुई है। जिसके लिए सरकार विज्ञापन निकाल कर दाखिला पूरा करवाएगी। इस पर हाईकोर्ट ने कहा कि वह इस काम को गर्मी की छुट्टी के दौरान पूरा कर ले। वहीं दूसरी ओर से दिल्ली हाईकोर्ट ने दिल्ली सरकार को यह भी निर्देश दिया कि वह अनाथ बच्चों को जल्द गरीबी कोटे की सूची में शामिल करने की प्रक्रिया पूरी करे। ताकि उन्हें भी गरीबी कोटे की सीटों में दाखिला मिल सके। http://in.jagran.yahoo.com/epaper/index.php?location=49&edition=2012-04-21&pageno=2